रायपुर, सार्थक दुनिया | 24 फरवरी 2023
कोयला परिवहन घोटाले में कांग्रेस के सात नेताओें के घरों की जांच पूरी होने के बाद प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम ने बुधवार को नवा रायपुर के इंद्रावती भवन स्थित संचालनालय में धावा बोला। ईडी के अधिकारियों ने इंद्रावती भवन में स्थित श्रम विभाग, आवास एवं पर्यावरण विभाग तथा जीएसटी कार्यालय में दस्तावेज खंगाले। ईडी की टीम सीआरपीएफ जवानों की सुरक्षा में इंद्रावती भवन पहुंची थी। एक दल ने श्रमायुक्त के कार्यालय की जांच की तथा श्रम विभाग के अधिकारियों से पूछताछ की। ईडी के अधिकारियों ने आवास एवं पर्यावरण और जीएसटी कार्यालय में भी जांच की।
आपको बता दें कि कोयला परिवहन घोटाले की जांच में मिले दस्तावेज के आधार पर इन दफ्तरों में कार्रवाई की गई है। यहां गुरुवार को भी जांच जारी रहेगी। ईडी के अधिकारियों ने तीनों कार्यालयोें से दस्तावेज जब्त किए और कंप्यूटरों की भी जांच की। ज्ञात हो कि ईडी ने सोमवार को कांग्रेस के दो विधायक देवेेंद्र यादव, चंद्रदेव राय के साथ ही वरिष्ठ नेताओं रामगोपाल अग्रवाल, गिरीश देवांगन, आरपी सिंह, विनोद तिवारी और सन्नी अग्रवाल के घरों सहित 17 ठिकानों पर छापा मारा था। कांग्रेस नेताओं के घर 36 घंटों की जांच के बाद अधिकारी इंद्रावती भवन पहुंचे। सीआरपीएफ जवानों के साथ ईडी के अधिकारी जब श्रमायुक्त के कार्यालय पहुंचे तो वहां अधिकारियों की बैठक चल रही थी।
ईडी को देखते ही अफरातफरी मच गई। ईडी के अधिकारियों ने श्रम विभाग के अधिकारियों-कर्मचारियों से पूछताछ की। कुछ दस्तावेज और कंप्यूटर फाइलों को जब्त किए जाने की सूचना भी है। श्रम विभाग की एक शाखा को सील कर दिया गया है। कांग्रेस नेता सन्नी अग्रवाल सन्ननिर्माण कर्मकार मंडल के अध्यक्ष हैं। उनका दफ्तर श्रम विभाग में ही है। उनके घर से मिले दस्तावेज के आधार पर यहां छापा मारा गया था। ज्ञात हो कि कोयला परिवहन घोटाले में आइएएस समीर बिश्नोई, मुख्यमंत्री कार्यालय में उप सचिव रहीं सौम्या चौरसिया, कोयला कारोबारी सूर्यकांत तिवारी सहित नौ लोग जेल में हैं। ईडी की जांच का दायरा लगातार बढ़ रहा है।
पर्यावरणीय स्वीकृति की फाइलों की जांच
ईडी की टीम ने आवास एवं पर्यावरण विभाग के दफ्तर में सघन जांच की। यहां कोयला खदानों की पर्यावरणीय स्वीकृति संबंधी फाइलों को तलाश किए जाने की सूचना है।
आइएएस बिश्नोई के विभाग में जांच
ईडी के अधिकारी जीएसटी कार्यालय भी पहुंचे थे। कोयला परिवहन घोटाले में जेल में बंद आइएएस समीर बिश्नोई एक वर्ष तक जीएसटी कमिश्नर रहे हैं। जीएसटी कार्यालय में जांच को उन्हीं से जोड़कर देखा जा रहा है।